ब्लॉग में आने पर आपकी संख्या :-

शिव का जलाभिषेक क्यों होता है !

ॐ नमः शिवाय


श्रावण मास में शिव जी के मस्तक पर जल अर्पण करने की परंपरा चली आ रही है पर बहुत से भक्तो को ये नहीं मालूम है की ऐसा क्यों किया जाता है...समुद्रमंथन के दौरान निकले हलाहल विष को सृष्टि को विनाश से बचाने भगवान भोलेनाथ ने पिया था और इस विष को पेट में जाने से बचाने के लिए पार्वती जी ने उनका गला दबाया...इसके कारण भगवान शिव का गला नीला पड़ गया और वे शिवजी नीलकंठ महादेव कहलाये... और जिस स्थान पर उन्होंने ये विष पिया वो जगह नीलकंठ कहलाया....विषपान से शिवजी का माथा गर्म हो चुका था तब देवताओ ने शिव जी के मस्तक पर जलाभिषेक किया...तभी से शिव जी के मस्तक पर जलाभिषेक की परंपरा चली आ रही है...नीलकंठ ऋषिकेश में स्वर्ग आश्रम के ऊपर एक पहाड़ी मे 1,675 मीटर की ऊंचाई पर अवस्थित है...मुनी की रेती से यह सड़क मार्ग से 50 कि.मी. और नाव द्वारा गंगा पार करने पर 25 कि.मी. की दूरी पर अवस्थित है...नीलकंठ महादेव क्षेत्र के सबसे पूज्य मंदिरों में से एक है...वैसे नीलकंठ महादेव मंदिर शिव के द्वादश ज्योतिर्लिंगों से अलग है पर भक्तो के लिए इसकी बहुत श्रद्धा है...अत्यन्त प्रभावशाली यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है...इसकी नक्काशी देखते ही बनती है...अत्यन्त मनोहारी मंदिर शिखर के तल पर समुद्र मंथन का दृश्य चित्रित किया गया है... और गर्भ गृह के प्रवेश-द्वार पर एक विशाल पेंटिंग में भगवान शिव को विष पान करते दिखलाया गया है...

Visit Us at :
www.worldofsaigroup.blogspot.com
www.worldofsaigroup.com
www.umamahadev.blogspot.in
www.facebook.com/wosgrp.aaosai
  www.facebook.com/groups/saikahoney
www.facebook.com/worldofsaigroup
E-Mails :- saikahoney@saimail.com
wosgrp@saimail.com
 
For Daily SAI SANDESH By E-mail:-
www.groups.google.com/group/worldofsai/boxsubscribe?p=FixAddr&email

For Daily Sai Sandesh On Your Mobile

Type ON WORLDOFSAIGROUP
In your create message box
and send it to
+919870807070